बंगाल हिंसा में शामिल गुंडों ने NHRC टीम पर किया हमला, और ममता दीदी के लिए ‘सब ठीक है’!

बंगाल में फैक्ट फाइंडिंग टीम ने हिंसा से जुड़ी 15000 घटनाएं और 7000 महिलाओं ने से बदसलूकी की बात कही। वहीं ममता बनर्जी पल्ला झाड़ने की स्थिति में दिख रही हैं।

Goons involved in Bengal violence attack NHRC team, and 'all is well' for Mamta didi!
(NewsGram Hindi)

फैक्ट फाइंडिंग टीम ने बंगाल हिंसा(Bengal Violence) पर चौंकाने वाला रिपोर्ट पेश किया है। इस रिपोर्ट में (जो बंगाल विधानसभा नतीजों के बाद भड़के हिंसा पर है) कहा गया है कि प्रदेश में हिंसा कि 15000 घटनाएं हुई, जिसमें 25 लोगों की मृत्यु हुई और 7000 महिलाओं के साथ बदसलूकी की गई। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार यह रिपोर्ट टीम द्वारा 29 जून 2021(मंगलवार) को केंद्रीय गृह राज्य मंत्री किशन रेड्डी को दी गई। रिपोर्ट में कहा गया है कि बंगाल में फैलाए गए हिंसा में कुख्यात अपराधी भी शामिल थे और उन्होंने ही बंगाल हिंसा(Bengal Violence) में घातक हमलों को अंजाम दिया था। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि बंगाल हिंसा के बाद कई लोगों को अपना घर छोड़ना पड़ा था।

केंद्रीय राज्य मंत्री किशन रेड्डी ने रिपोर्ट की तरफ इशारा करते हुए कहा कि “रिपोर्ट कहती है कि हिंसा एक सुनियोजित साजिश थी और अपराधी राजनीतिक कार्यकर्ताओं के साथ शामिल थे। इसमें कहा गया है कि पुरुषों की हत्या की गई और महिलाओं का बलात्कार किया गया। कई राज्यों में चुनाव हुए लेकिन ऐसी हिंसा कहीं नहीं देखी गई। महिलाओं को सबसे अधिक हमलों का सामना करना पड़ा, जबकि राज्य की मुख्यमंत्री एक महिला हैं।”

NHRC टीम पर हमला!

आपको बता दें कि कलकत्ता उच्च न्यायलय के आदेश पर गठित NHRC की टीम जब जाँच-पड़ताल के लिए हिंसा प्रभावित क्षेत्रों के दौरे पर निकली, तो उनपर जानलेवा हमला किया गया। टीम के साथ गए राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के उपाध्यक्ष, आतिफ रशीद(Atif Rasheed) ने गंभीर आरोप लगाया कि ‘भीड़ ने उन्हें मारने और उनका पीछा करने की कोशिश की थी, और उनके साथ आए पुलिस कर्मियों ने कोई मदद नहीं की।’

रशीद ने अपने ट्विटर पर सबूत के तौर पर एक वीडियो को भी साझा किया जिसमें यह साफ-साफ देखा जा सकता है कि उन्हें और उनके साथ गई टीम को स्थानीय लोगों ने घेर लिया था। इसपर रशीद लिखते हैं कि ” हाई-कोर्ट के आदेश के बाद पोस्ट पोल वॉइलेन्स की जाँच कर रही टीम के सदस्य के नाते आज जब मैं जाधवपुर पहुंचा तो मैंने 40 से ज्यादा घर टूटे हुए व जले हुए पाए और उसके रहने वालों का कोई अता पता नहीं था। कुछ लोकल गुंडों ने हमारा भी घेराव किया हमें काम नहीं करने दिया। पथराव की भी कोशिश की।”

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बंगाल में हुई में हुई राजनीतिक हिंसा पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी(Mamta Banerjee) पूरी तरह पल्ला झाड़ने की स्थिति में दिख रही हैं। हालिया मामलों में मुख्यमंत्री का प्रदेश के राज्यपाल जगदीप धनकड़ पर घोटाले का आरोप लगाना इस तरफ इशारा कर रहा है। अब ममता बनर्जी के नेतृत्व पर अलग-अलग सवालों के साथ यह भी पूछा जा रहा है कि बंगाल की महिला मुख्यमंत्री होते हुए भी, महिलाओं के खिलाफ बदसलूकी पर क्या करवाई की गई है?(SHM)

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